Class 11 Mathematics Notes Chapter 8 (द्विपद प्रमेय) – Ganit Book

चलिए, आज हम कक्षा 11 गणित के अध्याय 8, 'द्विपद प्रमेय' (Binomial Theorem) का अध्ययन करेंगे। यह अध्याय सरकारी परीक्षाओं की तैयारी के दृष्टिकोण से भी महत्वपूर्ण है, क्योंकि इससे संबंधित प्रश्न अक्सर पूछे जाते हैं।
अध्याय 8: द्विपद प्रमेय (Binomial Theorem)
परिचय:
द्विपद प्रमेय एक महत्वपूर्ण बीजगणितीय सूत्र है जो किसी द्विपद (दो पदों वाले व्यंजक, जैसे a+b) की किसी भी धनात्मक पूर्णांक घात (जैसे n) का विस्तार करने का तरीका बताता है। सीधे शब्दों में, यह (a+b)ⁿ को a और b की घातों के योग के रूप में लिखने की विधि है।
प्रमेय का कथन:
किसी भी धनात्मक पूर्णांक 'n' के लिए,
(a + b)ⁿ = ⁿC₀ aⁿ b⁰ + ⁿC₁ aⁿ⁻¹ b¹ + ⁿC₂ aⁿ⁻² b² + ... + ⁿCᵣ aⁿ⁻ʳ bʳ + ... + ⁿCₙ a⁰ bⁿ
इसे संक्षेप में इस प्रकार लिखा जा सकता है:
(a + b)ⁿ = Σr=0n ⁿCᵣ aⁿ⁻ʳ bʳ
यहाँ,
- n: एक धनात्मक पूर्णांक है (घात)।
- a, b: वास्तविक या सम्मिश्र संख्याएँ हो सकती हैं।
- ⁿCᵣ: द्विपद गुणांक (Binomial Coefficient) कहलाता है। इसका मान है:
ⁿCᵣ = n! / (r! * (n-r)!)
जहाँ, n! = n × (n-1) × (n-2) × ... × 3 × 2 × 1 (n का फैक्टोरियल)।
ध्यान दें: 0! = 1 होता है।
मुख्य अवलोकन और गुणधर्म:
- (a + b)ⁿ के प्रसार में पदों की कुल संख्या: (n + 1) होती है।
- घातों का योग: प्रसार के प्रत्येक पद में 'a' और 'b' की घातों का योग हमेशा 'n' होता है। (जैसे, aⁿ⁻ʳ bʳ में घातों का योग (n-r) + r = n है)।
- द्विपद गुणांक (Binomial Coefficients):
- ⁿC₀, ⁿC₁, ⁿC₂, ..., ⁿCₙ द्विपद गुणांक कहलाते हैं।
- ये गुणांक सममित होते हैं: ⁿCᵣ = ⁿCₙ₋ᵣ (उदाहरण: ⁵C₂ = ⁵C₃ = 10)।
- ⁿC₀ = ⁿCₙ = 1
- ⁿC₁ = ⁿCₙ₋₁ = n
- गुणांकों का योग: प्रसार में सभी द्विपद गुणांकों का योग 2ⁿ होता है।
ⁿC₀ + ⁿC₁ + ⁿC₂ + ... + ⁿCₙ = 2ⁿ (यह (1+1)ⁿ के प्रसार से प्राप्त होता है)। - एकान्तर गुणांकों का योग:
ⁿC₀ - ⁿC₁ + ⁿC₂ - ⁿC₃ + ... + (-1)ⁿ ⁿCₙ = 0 (यह (1-1)ⁿ के प्रसार से प्राप्त होता है)। - पास्कल त्रिभुज (Pascal's Triangle): यह त्रिभुज द्विपद गुणांकों को ज्ञात करने की एक सरल विधि प्रदान करता है। त्रिभुज की प्रत्येक पंक्ति n के एक मान के संगत गुणांकों (ⁿC₀ से ⁿCₙ तक) को दर्शाती है। प्रत्येक संख्या अपने ऊपर स्थित दो संख्याओं का योग होती है।
व्यापक पद (General Term):
(a + b)ⁿ के प्रसार में (r+1)वाँ पद (Tr+1) व्यापक पद कहलाता है। इसका सूत्र है:
Tr+1 = ⁿCᵣ aⁿ⁻ʳ bʳ
यह सूत्र किसी विशेष पद को ज्ञात करने के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है। उदाहरण के लिए, 5वाँ पद ज्ञात करने के लिए r=4 रखेंगे (T4+1)।
मध्य पद (Middle Term):
(a + b)ⁿ के प्रसार में मध्य पद ज्ञात करना 'n' के मान पर निर्भर करता है:
-
स्थिति 1: जब n सम (even) हो:
- पदों की संख्या (n+1) विषम होगी।
- केवल एक मध्य पद होगा, जो कि (n/2 + 1) वाँ पद है।
- मध्य पद = T(n/2 + 1) = ⁿCn/2 an/2 bn/2
-
स्थिति 2: जब n विषम (odd) हो:
- पदों की संख्या (n+1) सम होगी।
- दो मध्य पद होंगे: ((n+1)/2) वाँ पद और ((n+1)/2 + 1) वाँ पद।
- पहला मध्य पद = T(n+1)/2 = ⁿC(n-1)/2 a(n+1)/2 b(n-1)/2
- दूसरा मध्य पद = T(n+3)/2 = ⁿC(n+1)/2 a(n-1)/2 b(n+1)/2
कुछ विशिष्ट प्रसार:
- (1 + x)ⁿ = ⁿC₀ + ⁿC₁ x + ⁿC₂ x² + ... + ⁿCᵣ xʳ + ... + ⁿCₙ xⁿ
- (1 - x)ⁿ = ⁿC₀ - ⁿC₁ x + ⁿC₂ x² - ⁿC₃ x³ + ... + (-1)ʳ ⁿCᵣ xʳ + ... + (-1)ⁿ ⁿCₙ xⁿ
- (x - y)ⁿ = ⁿC₀ xⁿ - ⁿC₁ xⁿ⁻¹ y + ⁿC₂ xⁿ⁻² y² - ... + (-1)ʳ ⁿCᵣ xⁿ⁻ʳ yʳ + ... + (-1)ⁿ ⁿCₙ yⁿ
x से स्वतंत्र पद ज्ञात करना (Term Independent of x):
किसी प्रसार में x से स्वतंत्र पद (या अचर पद) ज्ञात करने के लिए:
- व्यापक पद Tr+1 = ⁿCᵣ aⁿ⁻ʳ bʳ लिखें।
- 'a' और 'b' के मान रखें (जो x के फलन हो सकते हैं)।
- Tr+1 में x की सभी घातों को एकत्रित करें और x की कुल घात को 0 के बराबर रखें।
- इस समीकरण को हल करके 'r' का मान ज्ञात करें। 'r' एक गैर-ऋणात्मक पूर्णांक (0, 1, 2, ..., n) होना चाहिए।
- यदि 'r' का वैध मान प्राप्त होता है, तो इस 'r' के मान को Tr+1 के सूत्र में रखकर स्वतंत्र पद ज्ञात करें।
सरकारी परीक्षाओं के लिए महत्वपूर्ण बिंदु:
- द्विपद प्रमेय का मूल सूत्र याद रखें।
- ⁿCᵣ की गणना करना सीखें।
- व्यापक पद (Tr+1) का सूत्र अत्यंत महत्वपूर्ण है - किसी भी पद या किसी विशेष घात वाले पद का गुणांक ज्ञात करने के लिए।
- मध्य पद ज्ञात करने के सूत्र (n सम और विषम दोनों के लिए) याद रखें।
- x से स्वतंत्र पद ज्ञात करने की विधि समझें।
- द्विपद गुणांकों के गुणधर्म (योग = 2ⁿ, एकान्तर योग = 0, ⁿCᵣ = ⁿCₙ₋ᵣ) पर आधारित प्रश्न पूछे जा सकते हैं।
- (1+x)ⁿ, (1-x)ⁿ, (x-y)ⁿ के प्रसार को ध्यान में रखें।
अभ्यास के लिए बहुविकल्पीय प्रश्न (MCQs):
प्रश्न 1: (2x + 3y)⁷ के प्रसार में पदों की कुल संख्या कितनी है?
(a) 6
(b) 7
(c) 8
(d) 14
प्रश्न 2: (x + 2/x)⁶ के प्रसार में चौथा पद (T₄) क्या है?
(a) 160
(b) 120x
(c) 160/x
(d) 160x²
प्रश्न 3: (1 + 2x)⁵ के प्रसार में x³ का गुणांक क्या है?
(a) 10
(b) 40
(c) 80
(d) 20
प्रश्न 4: (x² + 1/x)⁸ के प्रसार में मध्य पद क्या है?
(a) 70 x⁴
(b) 56 x²
(c) 70
(d) 56 x
प्रश्न 5: (3x - y/3)⁷ के प्रसार में कितने मध्य पद होंगे?
(a) 1
(b) 2
(c) 3
(d) 0
प्रश्न 6: (√x - k/x²)¹⁰ के प्रसार में x से स्वतंत्र पद 405 है। k का मान क्या है?
(a) ±2
(b) ±3
(c) ±4
(d) ±5
प्रश्न 7: (1 + x - 2x²)⁶ के प्रसार में सभी गुणांकों का योग क्या है?
(a) 0
(b) 1
(c) 64
(d) -64
प्रश्न 8: यदि ¹⁸Cᵣ = ¹⁸Cr+2 है, तो rC₅ का मान क्या है?
(a) 56
(b) 28
(c) 70
(d) 8
प्रश्न 9: ⁷C₀ + ⁷C₁ + ⁷C₂ + ... + ⁷C₇ का मान क्या है?
(a) 7!
(b) 49
(c) 128
(d) 64
प्रश्न 10: (2a - b)⁵ के प्रसार में तीसरा पद है:
(a) 80 a³ b²
(b) -80 a³ b²
(c) 40 a² b³
(d) -40 a² b³
उत्तरमाला (MCQs):
- (c) 8 (क्योंकि पदों की संख्या n+1 = 7+1 = 8 होती है)
- (a) 160 (T₄ = T3+1 = ⁶C₃ x⁶⁻³ (2/x)³ = 20 * x³ * (8/x³) = 160)
- (c) 80 (Tr+1 = ⁵Cᵣ (1)⁵⁻ʳ (2x)ʳ = ⁵Cᵣ 2ʳ xʳ. x³ के लिए r=3. गुणांक = ⁵C₃ * 2³ = 10 * 8 = 80)
- (a) 70 x⁴ (n=8 सम है, मध्य पद (8/2 + 1) = 5वाँ पद. T₅ = T4+1 = ⁸C₄ (x²)⁸⁻⁴ (1/x)⁴ = 70 * x⁸ * (1/x⁴) = 70x⁴)
- (b) 2 (क्योंकि n=7 विषम है, इसलिए दो मध्य पद होंगे)
- (b) ±3 (Tr+1 = ¹⁰Cᵣ (√x)¹⁰⁻ʳ (-k/x²)ʳ = ¹⁰Cᵣ x(10-r)/2 (-k)ʳ x⁻²ʳ = ¹⁰Cᵣ (-k)ʳ x(10-r)/2 - 2r. घात को 0 करें: (10-r)/2 - 2r = 0 => 10-r-4r = 0 => 5r=10 => r=2. स्वतंत्र पद = T₃ = ¹⁰C₂ (-k)² = 45 k² = 405 => k² = 9 => k = ±3)
- (a) 0 (गुणांकों का योग ज्ञात करने के लिए x=1 रखें: (1 + 1 - 2(1)²)⁶ = (1+1-2)⁶ = 0⁶ = 0)
- (a) 56 (गुणधर्म ⁿCₓ = ⁿCy से x=y या x+y=n. यहाँ r ≠ r+2, अतः r + (r+2) = 18 => 2r+2=18 => 2r=16 => r=8. तब rC₅ = ⁸C₅ = ⁸C₃ = (876)/(321) = 56)
- (c) 128 (गुणधर्म Σ ⁿCᵣ = 2ⁿ. यहाँ 2⁷ = 128)
- (a) 80 a³ b² (T₃ = T2+1 = ⁵C₂ (2a)⁵⁻² (-b)² = 10 * (2a)³ * (b²) = 10 * 8a³ * b² = 80 a³ b²)
इन नोट्स और प्रश्नों का ध्यानपूर्वक अध्ययन करें। शुभकामनाएँ!